9/11/08

मुझे शिकायत हे टी वी वालो से

कई दिनो से मॆ बलांग पर देख रहा हु कि प्रलय की चर्चा बहुत जोरो पर हे, पहले तो मेने सोचा कि यह कोई मजाक हे, लेकिन फ़िर हर तीसरे लेख मे प्रलय की बाते , ओर फ़िर पता लग की भारत मे टी वी मे यह खबरे मुख्या खबरे हे, ओर बहुत ही बढा चढा कर इन प्रलय को यह टी वी वाले भोली भाली जनता के सामने परोस रहे हे,

मेने यहां युरोप मे पुरा दिन इसी लिये टी वी देखा की अब प्रलय की खबर आती हे अब आती हे, लेकिन यहां सब कुछ नार्मल था, इस बारे शायद १५ सेक्ण्ड की एक खबर थी, फ़िर पुरे सप्ताह के अखवार देखे भाई यह प्रलय तो मेरे पास से होने वाली हे लेकिन कोई खबर नही पुरे य़ुरोप मे, तो एक दिन एक अखवार के आखरी पेज पर कोने मे इस बारे थोडा सा लिखा था, लेकिन प्रलय जेसी कोई बात नही, ओर किसी ने इस तरफ़ ध्यान भी नही दिया, अब हमारे टी वी वाले क्या इतने सयान हो गाये हे कि इस प्रलय के लिये समय भी बताने लगे, इस का लाभ इन्हे जो भी मिला हो, लेकिन इस का नुकसान क्या हो सकता हे, यह इन्होने कभी सोचा हे, एक नुकसान तो आप यहां पढ ले.
ओर ऎसी अफ़्गाहो से किसी को दिल का दोरा पड सकता हे, ओर भी ऎसी घटनाये हो सकती हे, क्या हमारे इन बेकार के टी वी वालो को अफ़्गाहे फ़ेलाने के सिवा दुसरा कोई काम नही, कभी मुर्र्ति दुध पी रही हे , कभी समुन्दर का पानी मीठा यह दिखाते हे, कभी किसी को मार रहे हे तो यह उसे न्युज बना कर दिखाते हे, कभी किसी लडकी या ओरत के साथ बतमीजी हो रही हे तो उसे चत्कारे ले कर दिखा रहे हे, लानत हे ऎसे टी वी चेनलो पर जो देश मे अफ़्गाहे फ़ेलाये, जनता को भडकाये, इन सब के पास अगर दिखाने को कुछ नही तो यह गन्द भी ना दिखाये, अगर दिखाना ही हे तो कुछ सच दिखाये, सच्ची खबरे दिखाये
ओर आप सब इस प्रलय की सच्चाई यहां पर पढ सकते हे, जिसे हमारे इन टी वी चेनलो ने बढा चढा कर आप सब के सामने परोसा, अगर आप इन को देखना बन्द कर दे तो आप सब के लिये अच्छा हे, ओर इन की बाते अन्सुनी करो

17 comments:

  1. raj ji
    vakai maja aaya aapki baat padhkar
    bharat men vakai vaigyanik gatividhi ko parosane ka tarikaa galat hai


    aapki blog per laguage problem khatam nahi hui ho to please http://raviratlami.blogspot.com per samadhan leven.
    Ravi ji mere mitr hai aur inhi ki badaulat hindi blog chalu hua hai
    shayad hi aap jaante hon teh baat
    microsoft dwara hindi ki blogging ka puruskaar bhi inhe mila hai.

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  2. अंधवि‍श्‍वास को भुनाने में लगे हैं खबरि‍या चैनल, कोई इनकी खबर क्‍यों नहीं लेता।

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  3. आपके और हमारे विचार आज कितने मेल खा रहे हैं देखिये इसे - http://bamulahija.blogspot.com/2008/09/blog-post_11.html

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  4. अक्सर ही पढता हूँ टीवी वालों से लोग त्रस्त हैं लेकिन जब हमारे पास चैनल बदलने की सुविधा है तो क्यूँ इंडिया टीवी और आजतक या स्टार न्यूज़ जैसे चैनल देखते हैं। मैं किसी चॅनल का प्रचार नहीं कर रहा लेकिन एन डी टी वी इंडिया एक सुलझा हुआ चैनल है जिसने इस ख़बर को एक वैज्ञानिक तरीके से दिखाया।

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  5. अब मैं पूरा समझ गया इस क़यामत के बारे में , इन मीडिया वालों पर तो प्रतिबन्ध लगा देना चाहिए. ये लोग सीधी बात बताते ही नहीं हैं कभी ...

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  6. भाटिया जी आपने बहुत ही जीवंत विषय उठाया है ! छाया के आत्म ह्त्या
    की ख़बर यहाँ के अखबारों में प्रमुखता रही ! और आपने जो दूसरा
    महाप्रयोग: क्या, क्यों और कैसे? का लिंक दिया , वो आज की हकीकत !
    पर कुछ लोग जान बुझकर अनाडी बनते है और हमारा इलेक्ट्रोनिक
    मीडिया ख़ास तौर से इनका फायदा उठाता है ! सबके अपने २ शगल हैं !
    बहुत बढिया लिखा आपने ! धन्यवाद !

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  7. सब टी आर पी का खेल है यहाँ

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  8. मेरे यहां स्कूलों में पढ़नेवाले बच्चे बस से उतरकर एक दूसरे से ऐसे मिले मानो कल फिर मिल पाएंगे या नहीं । सभी बुरी तरह डरे हुए थे , बड़ो को तो तब भी थोडत्री समझदारी होती है , लेकिन बच्चों का मन , जो किसी भी सीमा तक कल्पना करने में तेज होते हैं , उनके दिमाग या शरी के किसी अंग में कुप्रभाव पड़े , तो इसकी जिम्मेवारी कौन लेगा ?

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  9. आजकल न्यूज़ चैनल समाचार कम और समाचार के माध्यम से टीआरपी का जुगाड़ करते हैं . भारत में इंडिया टीवी इस दौड़ में सबसे आगे है. राई को पहाड़ बनाना कोई इनसे सीखे.

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  10. samachar ho to dikhayen.ye to bas apne sade gale vichar thopate rehte hain khud ko desh ka sabse bada thekedar samajh kar,

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  11. अरे सर टीवी वाले तो ऐसी खबरों के इंतज़ार मैं रहते हैं... मिर्च-मसाला लगाकर दिखाने के लिए.

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  12. T.V waale apna ullu sidha kar rahe hai..matlab apna business kar rahe hai...hamein hi jaagruk hona padega.haan lekin mai aapse sahmat hoon aour mujhe bhi T.V waalon se shikaayat hai.

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  13. आपकी बातों से पूरी तरह सहमत -भारतीय टीवी -मीडिया की जितनी भ्र्स्त्ना की जाय कम है !

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  14. आप ठीक कहते है राज जी ...हम बेहद दुखी है....शुक्र है चैनल बदलने की पॉवर हमारे हाथ में है...

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  15. राज जी,
    मुझे भी इन लोगों से बहुत शिकायत है. ये लोगों को बिना कारन डराने का काम करते हैं. आपने सच लिखा है. सस्नेह .

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  16. Aajkal TV channel par choti si khabar ko bhi khoob masaale dar bana kar parosa jaa raha hai. Pehle bhumika banane ke liye hi 15-20 minut ka faaltu samay barbaad karte hai aur baad me choti si khabar dikha dete hai. TV channel waalon ko apne channel ki lokpriyata badhane ke liye ye sab tareeke apnaane padte hai jo ki galat hai.

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नमस्कार, आप सब का स्वागत है। एक सूचना आप सब के लिये जिस पोस्ट पर आप टिपण्णी दे रहे हैं, अगर यह पोस्ट चार दिन से ज्यादा पुरानी है तो मॉडरेशन चालू हे, और इसे जल्द ही प्रकाशित किया जायेगा। नयी पोस्ट पर कोई मॉडरेशन नही है। आप का धन्यवाद, टिपण्णी देने के लिये****हुरा हुरा.... आज कल माडरेशन नही हे******

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मुझे शिकायत है !!!

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उन्होंने ईश्वर से डरना छोड़ दिया है , जो भ्रूण हत्या के दोषी हैं। जिन्हें कन्या नहीं चाहिए, उन्हें बहू भी मत दीजिये।